आजादी के अमृत महोत्सव के तहत मंगलवार को पर्यटन विकास मंच के सौजन्य से गांव डाडम में केके सिंगला चैरिटेबल हॉस्पिटल द्वारा नेत्र जांच शिविर लगाया गया। कैंप में नेत्र चिकित्सक डॉ. रणसिंह ने ग्रामीणों के आंखों की जांच की, जिसमें 85 लोगों ने अपनी आंखों की जांच करवाई। कैंप का शुभारंभ तोशाम सरपंच एसोसएिशन के प्रधान एवं डाडम के सरपंच विजेंद्र एवं पूर्व सरपंच रामफल ने किया। उन्होंने पर्यटन विकास मंच के सराहनीय कार्य की प्रंशसा की। इस मौके पर चिकित्सक ने मरीजों को सलाह दी कि आमतौर पर आंखों की अहमियत तब पता चलती है, जब इनकी रोशनी कमजोर पहडऩे लगती है। इसलिए यदि वक्त रहते इसकी सही देखभाल की जाए तो आंखों को कई गंभीर बीमारियों से बचाया जा सकता है। ग्रामीणों को नेत्र रोग से बचाने के उद्देश्य से पर्यटन विकास मंच द्वारा नेत्र जांच से कोई ना रहे वंचित अभियान चलाया जा रहा है। जिसके तहत ग्रामीण क्षेत्रों में नेत्र जांच शिविर लगाकर ग्रामीणों की आंखों की जांच कर उन्हे उचित सलाह दी जा रही है। उन्होंने कहा कि आंखों की देखभाल करना सभी के लिए जरूरी है। उम्र बढऩे के साथ आंखों की रोशनी भी धुंध होने लगती है। इसके अलावा अधिक मोबाईल या टीवी देखने से भी आंखों पर प्रभाव पड़ता है। इसीलिए समय-समय पर आंखों की जांच जरूरी है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र में इस तरह के आयोजन मील का पत्थर साबित होते है। इस मौके पर पर्यटन विकास मंच के संस्थापक एवं अध्यक्ष राजेश गारनपुरा ने कहा कि आंखें शरीर का सबसे अहम व कोमल अंग होती हैं, इसलिए उनकी सुरक्षा के वक्त भी काफी ध्यान रखना पड़ता है। लेकिन ग्रामीण जिंदगी की भागदौड़ में आंखों की जांच की तरफ ध्यान नहीं दे पाते। उन्होंने कहा कि उनके द्वारा लगाए गए कैंप का उद्देश्य लोगों को नेत्र जांच के प्रति जागरूक करना है। उन्होंने कहा कि उनका यह अभियान भविष्य में भी जारी रहेगा।